समय के साथ हल होती हैं हर समस्याएं

457
ग्रहों के आधार पर करें भूमि व भवन के वास्तु का संतुलन
ग्रहों के आधार पर करें भूमि व भवन के वास्तु का संतुलन।

Problems are solved with time, always be happy : समय के साथ हल होती हैं हर समस्याएं। उनके लिए चिंता करना व्यर्थ है। इसके एक प्रेरक कथा से समझें। कथा के अनुसार किसी शहर में एक आदमी प्राइवेट कंपनी में नौकरी करता था। वह अपनी जिंदगी से खुश नहीं था। हर समय किसी न किसी समस्या से परेशान होकर दुखी रहता था। एक बार शहर में एक महात्मा का काफिला रुका। चारों और उन्हीं की चर्चा होने लगी। बहुत से लोग अपनी समस्याएं लेकर उनके पास पहुंचने लगे। महात्मा चुटकी में समस्या का समाधान बता देते थे। यह बात उस आदमी तक भी पहुंची। उसने भी महात्मा के दर्शन कर अपने दुख का कारण जानने और उनकी मदद से उसे दूर करने का निश्चय  किया।

समस्याओं से दुखी व्यक्ति महात्मा के पास पहुंचा

समस्याओं से दुखी व्यक्ति एक दिन सुबह-सुबह महात्मा के पास  पहुंचा। वहां दर्शनार्थियों की लंबी कतार थी। बहुत इंतज़ार के बाद उसका नंबर आया। वह उनसे बोला, मैं अपने जीवन से बहुत दुखी हूं। हर समय समस्याएं मुझे घेरी रहती हैं। आफिस में कभी काम का तनाव रहता है तो कभी खींचतान। कभी घर पर ही अनबन हो जाती है। कभी पैसे की कमी या अपने स्वास्थ्य को लेकर परेशान रहता हूं। बाबा, कोई ऐसा उपाय बताइए कि मेरी सारी समस्याएं खत्म हो जाएं। मैं चैन से जी सकूं। महात्मा मुस्कराए। वे बोले, पुत्र, आज बहुत देर हो गयी है। मैं तुम्हारे प्रश्न का उत्तर कल सुबह दूंगा। तुम यहीं रात्रि विश्राम कर लो। वह तैयार हो गया। तब बाबा ने पूछा कि क्या तुम मेरा एक छोटा सा काम करोगे? उस आदमी ने उत्साहित होकर कहा-हां बाबा। मैं आपका काम अवश्य करूंगा। आप आदेश तो दीजिए।

महात्मा ने रात में ऊंट की रखवाली का काम सौंपा

महात्मा ने कहा कि हमारे काफिले में सौ ऊंट हैं। मैं चाहता हूं कि आज रात तुम इनका खयाल रखो। जब सारे ऊंट बैठ जाएं तो तुम सो जाना। ऐसा कहते हुए महात्मा अपने तंबू में आराम करने चले गए। अगली सुबह उन्होंने उस आदमी को बुलाया। फिर  पूछा, कहो बेटा, नींद अच्छी आई? वह आदमी दुखी होते हुए बोला, कहां बाबा। मैं तो रात भर एक पल भी नहीं सो पाया। बहुत कोशिश की पर सभी ऊंटों को नहीं बैठा पाया। एक को बैठाता तो दूसरा खड़ा हो जाता। उसे बैठाता तो तीसरा। कोई न कोई ऊंट रात भर खड़ा होता रहा। महात्मा बोले, रात तुमने अनुभव किया कि कितनी भी कोशिश करो सारे ऊंट एक साथ नहीं बैठ सकते। एक को बैठाओगे तो दूसरा खड़ा होगा। इसी तरह समस्याएं भी होती हैं। एक का समाधान करो तो दूसरी खड़ी होगी। समय के साथ हल होती हैं समस्याएं।

यह भी पढ़ें- सकारात्मकता है बड़ी ताकत इससे मिलती है निश्चित सफलता

समस्याओं के साथ जीने का आनंद लेने का गुर समझाया

महात्मा ने कहा। जब तक जीवन है समस्याएं रहती हैं। कभी कम तो कभी ज्यादा। तब हमें क्या करना चाहिए? आदमी ने जिज्ञासावश पूछा? महात्मा ने जवाब दिया कि इनके साथ जीवन का आनंद लेना सीखो। अपनी बात स्पष्ट करते हुए कहा कि कल रात क्या हुआ?

1- कई ऊंट रात में खुद ही बैठ गए।

2- कई तुमने अपने प्रयास से बैठाए।

3- बहुत से ऊंट तुम्हारे प्रयास के बाद भी नहीं बैठे। बाद में उनमें से कुछ खुद बैठ गए।

समस्याएं  भी  ऐसी  ही  होती  हैं..

1- कुछ अपने आप ही खत्म हो जाती हैं।

2- कुछ को तुम अपने प्रयास से हल कर लेते हो।

3- कुछ बहुत कोशिश करने पर भी हल नहीं होतीं।

समय के साथ हल होती हैं समस्याएं

महात्मा ने कहा कि समस्याओं को  समय पर छोड़ दो। अधिकतर समस्याएं समय के साथ हल होती हैं। उसे खत्म करने के लिए व्यक्ति को खुद कुछ नहीं करना पड़ता है। जीवन है, तो कुछ समस्याएं बनी ही रहेंगी। उनके पीछे अपना सुख-चैन खत्म नहीं करना चाहिए। उन्हीं के बारे में दिन-रात नहीं सोचो। सभी समस्याओं को एक तरफ रखो और जीवन का आनंद लो। चैन की नींद सोओ। जब समस्याओं के समाधान का समय आएगा वे खुद ही हल हो जाएंगी।

यह भी पढ़ें : अशुभ ग्रहों को ऐसे बनाएँ शुभ

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here